संविधान संशोधन की सूची (List of Constitutional Amendment)

 संविधान संशोधन अधिनियम 

(Amendment of the Constitution of India)  


1. संविधान (पहला संशोधन) अधिनियम 1951 - इस संशोधन द्वारा विभिन्न राज्यों द्वारा पारित भूमि सुधार और जमींदारी उन्मूलन अधिनियमो का मान्यकरण किया गया और संविधान में एक नयी नौवी अनुसूची जोड़ कर इन अधिनियमों को सूची दे दी गयी . 

2. संविधान (दूसरा संशोधन) अधिनियम 1952 - इसके अंतर्गत 1951 की जनगणना के आधार पर लोकसभा में प्रतिनिधित्व को पुनर्व्यवस्थित किया गया . 

3. संविधान (तीसरा संशोधन) अधिनियम 1955 - इसके अंतर्गत सातवी अनुसूची की समवर्ती सूची की तैंतीसवी प्रविष्टि के स्थान पर खाद्यान, पशुओ के लिए चारा, कच्चा कपास, जूट आदि के बारे में केन्द्र को विधि-निर्माण का अधिकार दिया गया है . 

4. संविधान (चौथा  संशोधन) अधिनियम 1955 - इसके अंतर्गत व्यक्तिगत सम्पंत्ति को लोकहित में राज्य द्वारा हस्तगत किये जाने की स्थिति में, न्यायालय इसकी क्षतिपूर्ति के सम्बन्ध में परीक्षा नहीं कर सकता है . 

5. संविधान (सातवाँ संशोधन) अधिनियम 1956 - इस संशोधन द्वारा भाषायी आधार पर राज्यों का पुनर्गठन किया गया . जिसमे पहले के तिन श्रेणियों में राज्यों के वर्गीकरण को समाप्त करते हुए राज्यों एवं केन्द्रशासित प्रदेशो में उन्हें विभाजित कर दिया गया . 

6. संविधान (आठवां  संशोधन) अधिनियम 1959 - इसके अंतर्गत केन्द्र और राज्यों के निम्न सदनों में अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति एवं आंग्ल-भारतीय समुदायों के आरक्षण सम्बन्धी प्रावधानों को दस वर्षो से बढ़ा कर बीस वर्ष कर दी गयी .  

7.संविधान (10वां संशोधन) अधिनियम 1961 - इसके अंतर्गत भूतपूर्व पुर्तगाली क्षेत्र - दादर एवं नगर हवेली को भारत में शामिल कर उन्हें केन्द्रशासित प्रदेश का दर्जा दिया गया .  

8. संविधान (11वां संशोधन) अधिनियम 1961 - इस संशोधन द्वारा राष्ट्रपति एवं उपराष्ट्रपति की निर्वाचन प्रणाली में कुछ परिवर्तन किया गया , संशोधन के बाद राष्ट्रपति के चुनाव को इस बात पर अवैध घोषित नहीं किया जा सकता था कि निर्वाचन-गण का निर्वाचन पूरा नहीं हुआ था . उपराष्ट्रपति के निर्वाचन के लिए संसद के दोनों सदनों की संयुक्त बैठक को भी संशोधन द्वारा अनावश्यक कर दिया गया . अब दोनों सदनों के सदस्य मतदान पत्रों के द्वारा मत दे सकते है . यह सब करने के लिए संविधान के अनुच्छेद 66 (1) और 71 में संशोधन किया गया . 

9. संविधान (12वां संशोधन) अधिनियम 1962 - इस संशोधन द्वारा गोवा, दमन और दीव को भारत का अंग घोषित किया गया  और उन्हें भारत संघ का आठवां संघ-राज्य क्षेत्र बना दिया गया . 

10. संविधान (13वां संशोधन) अधिनियम 1962 - इस संशोधन द्वारा नागालैंड को भारत का एक नया राज्य घोषित किया गया और संविधान में एक नया अनुच्छेद 371(क) जोड़ कर इस नये राज्य में लागू होने वाले कुछ विशेष उपबंधो को मान्यता दे दी गयी . नागालैंड राज्य का विधिवत सूत्रपात दिसंबर 1962 में हुआ . 

11. संविधान (14वां संशोधन) अधिनियम 1962 - इस संशोधन द्वारा भारत में पुरानी फ्रांसीसी अधिपत्य वाली बस्तियों - पांडिचेरी, कारीकल, माहे एवं यनम को पांडिचेरी के नाम से विधिवत भारत का अंग और संघ राज्य क्षेत्र घोषित कर दिया गया . 

12. संविधान (15वां संशोधन) अधिनियम 1963 - इस संशोधन द्वारा अनुच्छेद 217(1) में संशोधन कर उच्च न्यायलय के न्यायाधीशो की अवकाश ग्रहण की आयु 60 से बढ़ा कर 62 कर दी गयी . अनुच्छेद 217 में एक नयी धारा को जोड़ कर यह स्पष्ट कर दिया गया कि यदि उच्च न्यायालय के किसी न्यायाधीश की सही आयु का प्रश्न उठता है तो इसका निर्णय राष्ट्रपति द्वारा किया जायेगा . 

13. संविधान (16वां संशोधन) अधिनियम 1963 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा देश की संप्रभुत्ता एवं अखंडता के हित में मूल अधिकारों पर कुछ प्रतिबन्ध लगाने के प्रावधान रखे गये . साथ ही तीसरी अनुसूची में परिवर्तन कर शपथ ग्रहण के अंतर्गत "मै भारत की स्वतंत्रता एवं अखंडता को बनाएं रखूँगा" जोड़ा गया . 

14. संविधान (18वां संशोधन) अधिनियम 1966 - इस संशोधन अधिनियम द्वारा पंजाब का भाषायी आधार पर पुनर्गठन करते हुए पंजाबी भाषी क्षेत्र को पंजाब एवं हिंदी भाषी क्षेत्र को हरियाणा के रूप में गठित किया गया . पर्वतीय क्षेत्र हिमाचल प्रदेश को दे दिया गया और चंडीगढ़ को केन्द्रशासित प्रदेश बना दिया गया . 

15. संविधान (19वां संशोधन) अधिनियम 1966 - इस संविधान संशोधन द्वारा चुनाव आयोग के अधिकारों में परिवर्तन किया गया एवं उच्च न्यायलयो को चुनाव-आयोग सुनने का अधिकार दिया गया . 

16. संविधान (21वां संशोधन) अधिनियम 1967 -  इस संविधान संशोधन द्वारा सिंधी भाषा को संविधान की आठवी अनुसूची के अंतर्गत पंद्रहवी भाषा के रूप में शामिल किया गया . 

17. संविधान (22वां संशोधन) अधिनियम 1969 - इस संविधान संशोधन द्वारा असम से अलग करके एक नया राज्य मेघालय बनाया गया . 

18. संविधान (24वां संशोधन) अधिनियम 1971 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा संसद की इस शक्ति को स्पष्ट किया गया कि वह संविधान के किसी भी भाग को, जिसमे भाग 3 के अंतर्गत के अंतर्गत आने वाले मूल अधिकार भी है, संशोधित कर सकती है . साथ ही यह भी निर्धारित किया गया कि संशोधन सम्बन्धी विधेयक जब संसद के दोनों सदनों द्वारा पारित कर दिया जाता है और उसे राष्ट्रपति के समक्ष के रखा जाता है तो इस पर राष्ट्रपति द्वारा अपनी सम्मति दिया जाना बाध्यकारी कर दिया गया . 

19. संविधान (26वां संशोधन) अधिनियम 1971 - इस संविधान संशोधन द्वारा भूतपूर्व देशी राज्यों के शासको की विशेष उपाधियों एवं उनके प्रिवी-पर्स को समाप्त कर दिया गया . 

20. संविधान (27वां संशोधन) अधिनियम 1971 - इस संविधान संशोधन द्वारा मिजोरम एवं अरुणाचल प्रदेश को केन्द्र शासित प्रदेशो के रूप में स्थापित किया गया . 

21. संविधान (29वां संशोधन) अधिनियम 1972 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा केरल भू-सुधार (संशोधन) अधिनियम, 1969 तथा केरल भू-सुधार (संशोधन) अधिनियम, 1971 को संविधान की नौवी अनुसूची में रख दिया गया जिससे इसकी संवैधानिक वैधता को न्यायालय में चुनौती ना दी जा सके . 

22. संविधान (31वां संशोधन) अधिनियम 1973 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा लोकसभा के सदस्यों की संख्या 525 से 545 कर दी गयी तथा केन्द्र शासित प्रदेशो का प्रतिनिधित्व 25 से घटा कर 20 कर दिया गया . 

23. संविधान (32वां संशोधन) अधिनियम 1974 - इस संविधान संशोधन द्वारा संसद और राज्य विधान पालिकाओं के सदस्यों द्वारा दबाव में या जबरदस्ती किये जाने पर इस्तीफा देना अवैध घोषित कर दिया गया एवं अध्यक्ष को यह अधिकार दिया गया कि वह सिर्फ स्वेच्छा से दिये गये एवं उचित त्यागपत्र को ही स्वीकार करें . 

24. संविधान (34वां संशोधन) अधिनियम 1974 - इस संविधान संशोधन द्वारा विभिन्न राज्यों द्वारा पारित बीस भू-सुधार अधिनियमों को नौवी अनुसूची में प्रवेश देते हुए उन्हें न्यायालय द्वारा संवैधानिक वैधता के परीक्षण से मुक्त किया गया . 

25. संविधान (35वां संशोधन) अधिनियम 1974 - इस संविधान संशोधन द्वारा सिक्किम का संरक्षित राज्य का दर्जा समाप्त कर उसे सम्बद्ध राज्य के रूप में भारत में प्रवेश दिया गया . 

26. संविधान (36वां संशोधन) अधिनियम 1975 - इस संविधान संशोधन द्वारा सिक्किम राज्य को भारत का बाईसवां राज्य बनाया गया . 

27. संविधान (37वां संशोधन) अधिनियम 1975 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा आपात स्थित्ति की घोषणा और राष्ट्रपति, राज्यपाल एवं केन्द्रशासित प्रदेशो के प्रशासनिक प्रधानो द्वारा अध्यादेश जारी किये जाने को अविवादित बनाते हुए न्यायिक पुनर्विचार से उन्हें मुक्त रखा गया . 

28. संविधान (39वां संशोधन) अधिनियम 1975 - इस संविधान संशोधन द्वारा राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति, प्रधानमंत्री एवं लोकसभा अध्यक्ष के निर्वाचन सम्बन्धी विवादों को न्यायिक परीक्षण से मुक्त रखा गया . 

29. संविधान (41वां संशोधन) अधिनियम 1976 - इस संविधान संशोधन द्वारा राज्य लोकसेवा आयोग के सदस्यों की सेवा मुक्ति की आयु सीमा 60 से बढ़ा कर 62 वर्ष कर दी गयी, पर संघ लोकसेवा आयोग के सदस्यों की सेवा-निवृत्ति की अधिकतम आयु 65 वर्ष रहने दी गयी . 

30. संविधान (42वां संशोधन) अधिनियम 1976 - इस संविधान संशोधन द्वारा संविधान में व्यापक परिवर्तन किये गए . ये इस प्रकार है -

1. संविधान की प्रस्तावना में तीन नए शब्द 'समाजवादी' , 'धर्म निरपेक्षता' एवं 'एकता और अखंडता' शब्द जोड़े गये . 

2. सभी नीति-निर्देशक सिद्धांत की मूल अधिकारों पर सर्वोच्चता सुनिश्चित की गयी . 

3. संविधान में एक नया भाग 4(क) एवं एक नया अनुच्छेद 51(क) जोड़कर 10 मौलिक कर्तव्य को शामिल किया गया . 

4. इसके द्वारा संविधान को न्यायिक परीक्षण से मुक्त किया गया . 

5. लोकसभा और सभी विधान पालिकाओं की सीटो की संख्या को इस शताब्दी के अंत तक के लिए स्थिर कर दिया गया . 

6. लोकसभा एवं विधानसभाओ की अवधि को पांच वर्ष से छह वर्ष कर दिया गया . 

7. इस संविधान संशोधन द्वारा राज्य सूची के 5 विषयो वन-संपदा, जनसंख्या नियंत्रण एवं परिवार नियोजन, शिक्षा, माप एवं बाट और वन्य-जीव जन्तुओ का संरक्षण को समवर्ती अनुसूची में शामिल किया गया . 

8. इस संविधान संशोधन द्वारा यह निर्धारित किया गया कि राष्ट्रपति मंत्रिपरिषद एवं उसके प्रमुख प्रधानमंत्री की सलाह से कार्य करेगा . 

9. इस संविधान संशोधन द्वारा संसद को राष्ट्रविरोधी गतिविधियों से निपटने के लिए के लिए कानून बनाने के लिए अधिकार दिये एवं सर्वोच्चता स्थापित की गयी . 

10. इस संविधान संशोधन द्वारा संविधान में एक नया भाग 14 (क) एवं  अनुच्छेद 323 (क) और (ख) जोड़े गये तथा प्रशासनिक अधिकरण को संविधान में शामिल किया गया . संसद और राज्य विधानमंडलों को इनकी स्थापना करने की शक्ति दी गयी . 

Note :- 42वें संविधान संशोधन 1976 की व्यापकता के कारण इस संविधान संशोधन को लघु संविधान (Mini Constitution) भी कहा जाता है . 

31. संविधान (44वां संशोधन) अधिनियम 1978 - इस संविधान संशोधन द्वारा निम्नलिखित प्रावधान संविधान में शामिल किये गये - 

1. इस संविधान संशोधन द्वारा राष्ट्रीय आपात स्थिति लागू करने के लिए 'आंतरिक अशांति' के स्थान पर 'सशस्त्र विद्रोह' शब्द को शामिल किया गया एवं अन्य आपात स्थिति सम्बन्धी प्रावधानों में परिवर्तन किया गया, जिससे उनका दुरूपयोग न हो . 

2. इस संविधान संशोधन द्वारा सम्पति के अधिकार को मौलिक अधिकार के रूप में समाप्त कर उसे एक वैधानिक अधिकार (क़ानूनी अधिकार) बना दिया गया . 

3. इस संविधान संशोधन द्वारा लोकसभा और राज्य विधानसभाओ के कार्यकाल को 6 वर्ष से घटाकर पुन: 5 वर्ष कर दिया गया . 

4. इस संविधान संशोधन द्वारा उच्चतम न्यायालय को राष्ट्रपति एवं उपराष्ट्रपति के निर्वाचन सम्बन्धी विवाद को हल करने की अधिकारिता प्रदान की गयी . 

32. संविधान (52वां संशोधन) अधिनियम 1985 - इस संशोधन द्वारा राजनीतिक दल-बदल पर अंकुश लगाने का लक्ष्य रखा गया . इसके द्वारा संसद या विधान मंडलों के उन सदस्यों को अयोग्य घोषित कर दिया जाने का प्रावधान किया गया, जो उस दल को छोड़ते है जिसके चुनाव चिह्न पर उन्होंने चुनाव लड़ा था . पर यदि किसी दल की संसदीय पार्टी के 1/3 सदस्य अलग दल बनाना चाहते है तो उन पर अयोग्यता लागू नहीं होगी . दल-बदल विरोधी इन प्रावधानों को संविधान में दसवी अनुसूची के अंतर्गत रखा गया . 

33. संविधान (53वां संशोधन) अधिनियम 1986 - इस संशोधन द्वारा अनुच्छेद 371 में खंड 'जी' जोड़कर मिजोरम को राज्य का दर्जा दिया गया . 

34. संविधान (54वां संशोधन) अधिनियम 1986 - इस संशोधन द्वारा संविधान की दूसरी अनुसूची के भाग 'डी'  में संशोधन कर न्यायाधीशो के वेतन में वृद्धि का अधिकार संसद को दिया गया . 

35. संविधान (55वां संशोधन) अधिनियम 1986 - इस संशोधन द्वारा अरुणाचल प्रदेश को राज्य का दर्जा दिया गया . 

36. संविधान (56वां संशोधन) अधिनियम 1987 - इस संशोधन द्वारा गोवा को राज्य का दर्जा दिया गया तथा दमन और दीव को केन्द्र शासित प्रदेश के रूप में ही रहने दिया गया . 

37. संविधान (58 वां संशोधन) अधिनियम 1987 - इस संशोधन द्वारा राष्ट्रपति को संविधान का हिन्दी संस्करण प्रकाशित करने के लिए अधिकृत किया गया . 

38. संविधान (61वां संशोधन) अधिनियम 1989 - इस संशोधन द्वारा मतदान के लिए आयु-सीमा 21 वर्ष से घटा कर 18 वर्ष कर दी गयी . 

39. संविधान (65वां संशोधन) अधिनियम 1990 - इस संशोधन द्वारा अनुच्छेद 368 में संशोधन करके अनुसूचित जाति तथा जनजाति आयोग के गठन की व्यवस्था की गयी . 

40. संविधान (69वां संशोधन) अधिनियम 1991 - इस संविधान संशोधन द्वारा दिल्ली को राष्ट्रीय क्षेत्र बनाया गया तथा दिल्ली संघ राज्य क्षेत्र के लिए विधानसभा और मंत्रिपरिषद का उपबंध किया गया . 

41. संविधान (70वां संशोधन) अधिनियम 1992 - इस सविधान संशोधन द्वारा दिल्ली और पुंदुचेरी संघ राज्य क्षेत्रो की विधानसभाओ के सदस्यों को राष्ट्रपति के लिए निर्वाचक मंडल में सम्मिलित किया गया . 

42. संविधान (71वां संशोधन) अधिनियम 1992 - इस संविधान संशोधन द्वारा आठवी अनुसूची में कोंकणी मणिपुरी और नेपाली भाषा को सम्मिलित किया गया . 

43. संविधान (73वां संशोधन) अधिनियम 1992-93 - इस संविधान संशोधन द्वारा संविधान में ग्यारहवीं अनुसूची जोड़ी गयी, इसमें पंचायती राज सम्बन्धी प्रावधानों को सम्मिलित किया गया . इस संशोधन के द्वारा संविधान में भाग-9  जोड़ा गया . इसमें अनुच्छेद 243 और अनुच्छेद 243 क से 243 ण तक अनुच्छेद है . 

44. संविधान (74वां संशोधन) अधिनियम 1992-93 - इस संविधान संशोधन द्वारा संविधान में बारहवी अनुसूची जोड़ी गयी, जिसमे नगरपालिका, नगर निगम और नगर परिषद् से सम्बंधित प्रावधान किये गये . इस संशोधन के द्वारा संविधान में भाग-9 क जोड़ा गया . इसमें अनुच्छेद 243 और अनुच्छेद 243 क से 243 य द  तक अनुच्छेद है . 

45. संविधान (76वां संशोधन) अधिनियम 1994 - इस संविधान संशोधन द्वारा संविधान की नौवी अनुसूची में संशोधन किया गया और तमिलनाडु सरकार द्वारा पारित पिछड़े वर्गों के लिए सरकारी नौकरियों में 69 प्रतिशत आरक्षण का उपबन्द करने वाली अधिनियम को नौवी अनुसूची में शामिल किया गया . 

46. संविधान (82वां संशोधन) अधिनियम 2000 - इस संविधान संशोधन द्वारा राज्यों को सरकारी नौकरियों में आरक्षित रिक्त स्थानों की भर्ती हेतु प्रोन्नति के मामलों में अनुसूचित जातियों एवं अनुसूचित जनजातियों के अभ्यर्थियों के लिय न्यूनतम प्राप्तांको में छूट प्रदान करने की अनुमति प्रदान की गयी . 

47. संविधान (83वां संशोधन) अधिनियम 2000 - इस संविधान संशोधन द्वारा पंचायती राज संस्थाओं में अनुसूचित जाति के लिए आरक्षण का प्रावधान न करने छूट प्रदान की गयी है . अरुणाचल प्रदेश में कोई भी अनुसूचित जाति न होने के कारण उसे यह छूट प्रदान की गयी है . 

48संविधान (84वां संशोधन) अधिनियम 2001 - इस संविधान संशोधन द्वारा लोकसभा और विधानसभाओ की सीटो की संख्या में वर्ष 2026 ई. तक कोई परिवर्तन न करने का प्रावधान किया गया है . 

49. संविधान (85वां संशोधन) अधिनियम 2001 - इस संविधान संशोधन द्वारा सरकारी सेवाओं में अनुसूचित जाति/जनजाति के अभ्यर्थियों के लिए पदोन्नतियों में आरक्षण की व्यवस्था की गयी . 

50. संविधान (86वां संशोधन) अधिनियम 2002 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा देश में 6 से 14 वर्ष तक के बच्चो के लिए अनिवार्य और नि:शुल्क शिक्षा को मौलिक अधिकार के रूप में मान्यता देने सम्बन्धी प्रावधान किया गया . इसे अनुच्छेद 21(क) के अंतर्गत संविधान में जोड़ा गया है . इस अधिनियम द्वारा संविधान के अनुच्छेद 45 तथा अनुच्छेद 51(क) में संशोधन किये जाने का प्रावधान किया गया . 

51. संविधान (87वां संशोधन) अधिनियम 2003 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा परिसीमन में जनसँख्या का आधार 1991 की जनगणना के स्थान पर 2001 ई. कर दी गयी है . 

52. संविधान (88वां संशोधन) अधिनियम 2003 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा सेवाओं पर कर का प्रावधान किया गया है . 

53. संविधान (89वां संशोधन) अधिनियम 2003 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा अनुसूचित जनजाति के लिए पृथक् राष्ट्रीय आयोग की स्थापना की व्यवस्था की गयी . 

54. संविधान (91वां संशोधन) अधिनियम 2003 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा निम्नलिखित प्रावधान किये गये -

1. दल-बदल व्यवस्था में संशोधन किया गया . केवल सम्पूर्ण दल के विलय को मान्यता की गयी . 

2. केन्द्र तथा राज्यों में मंत्रिपरिषद के सदस्य संख्या क्रमश: लोकसभा तथा विधानसभा की सदस्य संख्या का 15 प्रतिशत होगा . (जहाँ सदन की संख्या 40-40 है, वहां अधिकतम 12 होगी) . 

55. संविधान (92वां संशोधन) अधिनियम 2003 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा आठवीं अनुसूची में बोड़ो, डोगरी, मैथली एवं संथाली भाषाओँ का समावेश किया गया . 

56. संविधान (93वां संशोधन) अधिनियम 2006 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा शिक्षा संस्थानों में अनुसूचित जाति/जनजाति और अन्य पिछड़ा वर्गों के नागरिको के दाखिले के लिए सीटो के आरक्षण की व्यवस्था, संविधान के अनुच्छेद 15 की धारा 4 के प्रावधानों के तहत की गयी . 

57. संविधान (94वां संशोधन) अधिनियम 2006 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा बिहार राज्य को एक जनजाति कल्याण मंत्री नियुक्त करने के उत्तरदायित्व से मुक्त कर दिया गया . तथा इस प्रावधान को झारखण्ड और छत्तीसगढ़ राज्यों में लागू करने की व्यवस्था की गयी . मध्यप्रदेश और ओडिशा राज्य में यह प्रावधान पहले से ही है . 

58. संविधान (95वां संशोधन) अधिनियम 2009 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा अनुच्छेद 334 में संशोधन कर लोकसभा में अनुसूचित जातियों व अनुसूचित जनजातियों के आरक्षण एवं आंग्ल-भारतीय को मनोनीत करने सम्बंधी प्रावधान को 2020 तक के लिए बढ़ा दिया गया . 

59. संविधान (96वां संशोधन) अधिनियम 2011 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा संविधान की आठवीं अनुसूचित में 'उड़िया' के स्थान पर 'ओडिया' लिखा गया . 

60. संविधान (97वां संशोधन) अधिनियम 2011 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा सहकारी समितियों को एक संवैधानिक स्थान एवं संरक्षण प्रदान किया गया . इस संविधान संशोधन द्वारा संविधान में निम्नलिखित तीन बदलाव किये गए -

1. सहकारी समिति बनाने का अधिकार एक मौलिक अधिकार बन गया और इसे अनुच्छेद 19 (1) ग में स्थान दिया गया . 

2. राज्य की नीति में सहकारी समितियों को बढ़ावा देने का एक नया नीति निर्देशक सिद्धांत अनुच्छेद 43 (ख) का समावेश किया गया . 

3. 'सहकारी समितियां' नाम से एक नया भाग 9 (ख) संविधान में जोड़ा गया और इसके लिए अनुच्छेद 243 यज से 243 यन जोड़े गये . 

61. संविधान (98वां संशोधन) अधिनियम 2012 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा संविधान में अनुच्छेद 371 (जे) शामिल किया गया . इसका उद्देश्य कर्नाटक के राज्यपाल को हैदराबाद-कर्नाटक क्षेत्र के विकास हेतु कदम उठाने के लिए सशक्त करना है . 

62. संविधान (99वां संशोधन) अधिनियम 2014 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा राष्ट्रीय न्यायिक नियुक्ति आयोग (National Judicial Appointments Commission) की स्थापना की गयी . इस संशोधन का उद्देश्य न्यायाधीशो की नियुक्ति की वर्तमान कोलेजियम प्रणाली को समाप्त कर इसके स्थान पर राष्ट्रीय न्यायिक नियुक्ति आयोग (National Judicial Appointments Commission) की स्थापना करना था .  

Note- यह एक मात्र ऐसा संविधान संशोधन अधिनियम है जिसे उच्चतम न्यायालय द्वारा 5 न्यायाधीशो की संविधान पीठ ने राष्ट्रीय न्यायिक नियुक्ति आयोग (National Judicial Appointments Commission) के गठन सम्बंधित "99वां संविधान संशोधन 2014" और 'राष्ट्रीय न्यायिक नियुक्ति आयोग अधिनियम 2014'  असंवैधानिक एवं शून्य घोषित करते हुए रद्द घोषित किया गया . 

63. संविधान (100वां संशोधन) अधिनियम 2015 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा भारत-बांग्लादेश भूमि हस्तांतरण (Bharat-Bangladesh Land Agreement) से सम्बन्धित प्रावधान किये गये . दोनों देशो ने आपसी सहमति से कुछ भू-भागो का आदान-प्रदान किया गया . समझौते के तहत बांग्लादेश से भारत में शामिल लोगो को भारतीय नागरिकता भी दी गई . 

64. संविधान (101वां संशोधन) अधिनियम 2016 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा वस्तु एवं सेवा कर (GST) व्यवस्था लागू की गयी . संविधान में अनुच्छेद 256(अ) अंत स्थापित किया गया . 

इस संशोधन द्वारा अनुच्छेद 270 में यह निर्धारित किया गया कि केन्द्र द्वारा संग्रहित GST को केन्द्र और राज्यों के मध्य बांटा जायेगा . 

65. संविधान (102वां संशोधन) अधिनियम 2018 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग (OBC) को संवैधानिक दर्जा प्रदान किया गया और अनुच्छेद 338 (ख) जोड़ा गया . 

66. संविधान (103वां संशोधन) अधिनियम 2019 - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा आर्थिक रूप से कमजोर सामान्य वर्ग के लिए 10% आरक्षण की व्यवस्था की गयी . 

67. संविधान (104वां संशोधन) अधिनियम 2019 (126 संविधान संशोधन विधेयक)  - इस संविधान संशोधन अधिनियम द्वारा भारतीय संविधान के अनुच्छेद 334 में संशोधन किया गया . 

इस संशोधन के द्वारा लोकसभा और राज्य विधानसभाओं में अनुसूचित जातियों एवं जनजातियों के लिए आरक्षण की अवधि को 10 वर्ष और बढ़ा दिया गया . इसमें अनुसूचित जातियों एवं जनजातियों के लिए लोकसभा और राज्य विधानसभाओं में  25 जनवरी 2030 तक सीटो का आरक्षण बढ़ाने का प्रावधान किया गया . इससे पूर्व इस आरक्षण की सीमा 25 जनवरी 2020 तक थी . 

इस संविधान संशोधन द्वारा संसद में एंग्लो इंडियन (आंग्ल-भारतीय) समुदाय के प्रदत्त आरक्षण को समाप्त कर दिया गया . 

आरक्षण के तहत एंग्लो-इंडियन समुदाय के 2 सदस्य लोकसभा में प्रतिनिधित्व करते आ रहे थे . 


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